नजरे मिल जाती है, मगर नजरिया नहीं,
प्यार हो जाता है, मगर उसका एहसास नहीं,
ऐसा क्यों होता है जिन्दगी में कि
दोस्त हज़ार मिल जाते है, मगर एक सच्चा साथी नहीं
About
Brijesh Kumar Saini
हेलो, दोस्तो मेरा नाम ब्रजेश कुमार सैनी है। मुझे नये दोस्त बनाना मेरा शौक है। मुझे शायरी, मैसेज और नये-नये जोक्स का संग्रह करने का शौक है। मेरे एक मित्र राजेन्द्र सिंह ने मुझे सुझाव दिया कि क्यों न मै एक ब्लॉग बना लूं और वहां पर मेरे साथ अन्य लोग भी लाभान्वित होगें। यहीं से Friends Message सिलसिला शुरू हो गया। मै आशा करता हूं कि आपको मेरा प्रयास पसंद आयेगा। यदि आपके पास कोई सुझाव है आप मुझे कमेन्ट के माध्यम से दे सकते है।
0 टिप्पणियाँ :
Post a Comment